इक बेघर की आंख के आँसू, दम तोड़ता उसका जीवन ! इक बेघर की आंख के आँसू, दम तोड़ता उसका जीवन !
राम राज्य अब आ जाए हर जीवन में खिल जाए। राम राज्य अब आ जाए हर जीवन में खिल जाए।
हम गरीब है लाचार नहीं मदद करो साहब प्रचार नहीं। हम गरीब है लाचार नहीं मदद करो साहब प्रचार नहीं।
ये गरीब, मज़दूर और किसान तो, नहीं हो सकते हैं,इनके अलावा जो भी होगा, वो इंसान तो नहीं हो सकते हैं... ये गरीब, मज़दूर और किसान तो, नहीं हो सकते हैं,इनके अलावा जो भी होगा, वो इंसान...
गरीबी तो उस गरीब को पता हैं, जिसने साधारण जीना सिखाया हैं|| गरीबी तो उस गरीब को पता हैं, जिसने साधारण जीना सिखाया हैं||
अनजान आगे का सफ़र , बूढ़ा हुआ है यह शज़र इससे जिनको छाँव मिले, उनसे ही कई घाव मिले। अनजान आगे का सफ़र , बूढ़ा हुआ है यह शज़र इससे जिनको छाँव मिले, उनसे ही कई ...